Thursday, June 12, 2008

बदलाव

वैसे तो मैं इतना भी बिज़ी नहीं हूँ की एक ब्लॉग भी न लिख सकूं, लेकीन इलेक्ट्रोनिक सिटी और मेरे पुराने ऑफिस के बीच में इतना उलझ गया हूँ के मुझे कुछ और करने की फुरसत ही नहीं मिलती।

आगे ख़बर यह है की आजकल वीवान भाई साहब कुछ ज्यादा ही मस्ती करने लग गए हैं। बस उन्हें तो चाहिए की वह हरदम बाहर ही घुमते रहें। बहुत शैतान हो गया है आजकल

हम तो बस इलेक्ट्रोनिक सिटी से आजकल काम कर रहें हैं। अपने नए प्रोजेक्ट में काफ़ी काम है और उसी की उधेड़-बुन में लगे रहते हैं। सोचा की आज हिन्दी में पोस्ट कर के देखते हैं कैसा लगता है। तो इसलिए हम आ गए अपने इस होम पेज पर.

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